राज्य में काॅमन एफ्यूलेंट ट्रीटमेंट प्लांट स्थापित करने की प्रक्रिया को सरल बनाया जाए
मुख्यमंत्री श्रीमती वसुन्धरा राजे ने शुक्रवार को नई दिल्ली के उद्योग भवन में केन्द्रीय टेक्सटाइल राज्यमंत्री श्री संतोष गंगवार से मुलाकात करके राजस्थान में प्रस्तावित छः काॅमन एफ्यूलेंट ट्रीटमेंट प्लांट (सी.ई.टी.पी.) स्थापित करने की प्रक्रिया को सरल बनाने का आग्रह किया है।
श्रीमती राजे ने बताया कि राजस्थान के पाली जिले में दो, बालोतरा में दो, जसोल में एक सी.ई.टी.पी. तथा पाली में प्रस्तावित अगली पीढ़ी के टेक्सटाइल पार्क की स्थापना का प्रस्ताव राज्य सरकार द्वारा केन्द्र सरकार को भेजा जा चुका है। इन प्लांटों की स्थापना इंटिग्रेटेड प्रोसेसिंग डवलपमेंट स्कीम (आई.पी.डी.एस.) के अन्तर्गत की जायेगी। इनक में कुल लागत का 50 प्रतिशत केन्द्र सरकार द्वारा, 25 प्रतिशत राज्य सरकार द्वारा तथा शेष 25 प्रतिशत लागत ऋण इत्यादि के माध्यम से वहन करने का प्रस्ताव है। राज्य सरकार ने केन्द्र को भेजे प्रस्ताव में अपने हिस्से की 25 प्रतिशत राशि के लिए हाँ कर दी है तथा संबंधित प्लांटों के लिए गैर आपत्ति प्रमाण-पत्रा भी जमा करवाए जा चुके है। केन्द्रीय मंत्रालय ने इस संबंध मे अन्य कई सूचनाएं उपलब्ध करवाने के लिए राज्य सरकार को सूचित किया है।
श्रीमती राजे ने केन्द्रीय मंत्री से आग्रह किया कि उक्त प्लांटों की स्थापना की प्रक्रिया एवं सूचना संकलन को ज्यादा सरल बनाया जाएं, ताकि इनका निर्माण समय पर पूरा किया जा सके।
श्रीमती राजे ने केन्द्रीय राज्य मंत्री को बताया कि राज्य में एक ‘‘यूनिक हाई-टेक मास प्रोडक्शन टेक्नोलाॅजी डवलपमेंट सेंटर’’ की स्थापना का प्रस्ताव केन्द्रीय भारी उद्योग मंत्रालय में लंबित है। इस प्र्रस्ताव में मंत्रालय से 126 करोड़ रुपये के आवंटन के लिए आग्रह किया गया है। मुख्यमंत्री ने केन्द्रीय मंत्री से इस प्रस्ताव के निस्तारण के लिए केन्द्रीय भारी उद्योग मंत्रालय से बातचीत करने का आग्रह भी किया।
श्रीमती राजे ने राजस्थान में बनने वाले ‘‘सेंटर आॅफ एक्सीलेंस इन मोबाइलटेक्स’’ के लिए भी मंत्रालय से जल्द मंजूरी प्रदान करने का आग्रह किया। उन्होंने बताया कि इस एक्सीलेंस सेंटर की सफलता के लिए प्रदेश में स्थापित आॅटोमोबाइल हब एक बूस्टर की तरह काम करेगा।
नई दिल्ली, 15 मई 2015

साथ में हैं जयपुर सांसद श्री रामचरण बोहरा एवं सेंट्रल वूल बोर्ड के अध्यक्ष श्री जसवंतसिंह बिश्नोई।
