सफलता की कहानी: डांग क्षेत्र में जल संकट से निपटने के लिए नई इबारत लिखेंगे मिनी परकोलेशन टेंक

मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान करौली जिले में जल संकट से निपटने के लिए एक नई इबारत लिख रहा है। जिले के डांग क्षेत्र में जल संरक्षण को लेकर बनाये जा रहे मिनी परकोलेशन टेंक एवं तलाई आगामी वर्षा ऋतु में पानी से भरेंगे तो जल संरक्षण के क्षेत्र में एक नई कहानी लिखेंगें। डांग क्षेत्र में पेयजल की समस्या से जूझ रहे मनुष्य एवं मवेशियों के लिए पेयजल सुलभ हो सकेगा।

करौली जिले के डांग क्षेत्र में वर्षा का पानी व्यर्थ में बहकर नदी नालों के माध्यम से समुद्र में चला जाता था जिसकी वजह से डांग क्षेत्र में पेयजल एवं सिचांई के लिए पानी की कमी निरन्तर होती चली गई। पथरीली जमीन पर मीलों दूर पानी लाना ग्रामीण महिलाओं के लिए संघर्ष एवं चुनौती बना हुआ है।

ऎसे मे मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान द्वितीय चरण के अन्तर्गत पंचायत समिति मंडरायल की 4 ग्राम पंचायतों के 12 गांवों में वर्षा जल संग्रहण हेतु कुल 51 निर्माण कार्य प्रस्तावित किये गये हैं। इन कार्यों के पूर्ण होने पर कुल 2.77 लाख लीटर शुद्ध पेयजल का संग्रहण संभव हो सकेगा। वर्तमान में 25 कार्य पूर्ण कर लिए गये हैं और 26 कार्य प्रगति पर हैं। आगामी मानसून सत्र के प्रारम्भ में वर्षा जल संग्रहित होने से इन 12 गावों में मनुष्यों, कृषि एवं पशुओं के लिए फ्लोराइड मुक्त शुद्ध पेयजल उपलब्ध हो सकेगा।

अभियान के तहत जल संरक्षण के क्षेत्र मेें करवाये गये निर्माण कार्यों से न केवल डांग क्षेत्र की पेयजल सम्बन्धी समस्या का निवारण होगा बल्कि भू-जलस्तर में वृद्धि होगी जिससे ग्रामीणों को कृषि के लिए आसानी से पानी उपलब्ध हो सकेगा।

जयपुर, 26 मई 2017

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