खाद्य सुरक्षा कानून के लाभार्थियों की सूचियों का शुद्धिकरण जल्द पूरा करें

मुख्यमंत्री श्रीमती वसुन्धरा राजे ने खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए है कि राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा कानून के लाभार्थी परिवारों की सूचियों के शुद्धिकरण का कार्य जल्द से जल्द पूरा करें। उन्होंने कहा कि खाद्य सुरक्षा कानून की क्रियान्विति के लिए यह अत्यन्त आवश्यक है।

श्रीमती राजे मंगलवार को मुख्यमंत्री कार्यालय में विभाग की बजट घोषणाओं की समीक्षा बैठक में बोल रही थीं। उन्होंने कहा कि खाद्य सुरक्षा कानून के तहत आमजन को लाभान्वित करने के लिए उचित मूल्य की दुकानों सहित सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पी.डी.एस.) के सम्पूर्ण कम्प्यूटरीकरण का कार्य जल्द पूरा किया जाए ताकि राशन की दुकानों को आवंटित खाद्य सामग्री के स्टाॅक तथा वितरण की पूरी जानकारी आॅनलाइन उपलब्ध हो सके।

मुख्यमंत्री ने प्रदेश में पांच हजार राशन की दुकानों को अन्नपूर्णा भण्डार योजना के तहत पब्लिक-प्राइवेट-पार्टनरशिप (पीपीपी) मोड में चलाने की प्रगति की जानकारी ली। खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री श्री हेमसिंह भडाना ने बताया कि यह योजना अब टेण्डर प्रक्रिया में है। मुख्यमंत्री ने राशन कार्ड एवं पीडीएस की वितरण व्यवस्था को भामाशाह कार्ड से जोड़ने के लिए भी आवश्यक कार्रवाई करने के निर्देश दिए।

श्रीमती राजे ने खाद्य सुरक्षा कानून एवं पीडीएस के लिये गेहूं की खरीद राष्ट्रीय खाद्य निगम (एफसीआई) के बजाय राज्य सरकार द्वारा करने के लिये प्रस्तावित डी-सेन्ट्रलाइज्ड परचेज (डीसीपी) योजना को राजस्थान में लागू करने के लिये मध्यप्रदेश या अन्य राज्यों में इस योजना के अनुभवों का अध्ययन करने को कहा। वर्तमान में भरतपुर सम्भाग के अलवर जिले में इस योजना के तहत गेहूं की खरीद की जा रही है। वर्ष 2017 में पूरे राज्य में गेहूं की खरीद डीसीपी योजना के माध्यम से होना प्रस्तावित है। मुख्यमंत्री ने इसके लिए गेहूं के भण्डारण की समुचित व्यवस्था करने के निर्देश दिए।

प्रमुख शासन सचिव खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति श्री सुबोध अग्रवाल ने राशन सामग्री के वितरण की स्थिति, स्कूलों में एक हजार कन्ज्यूमर क्लब को पुनर्जीवित करने, काॅलेजों में एक हजार अतिरिक्त क्लब बनाने की आवश्यकता, उपभोक्ता हेल्पलाइन के संचालन, विभाग की विभिन्न योजनाओं के कम्प्यूटरीकरण की स्थिति, डिजिटाइज्ड राशन कार्ड के वितरण, नये राशन कार्ड के लिये ई-मित्र और मान्यता प्राप्त एजेंसी के माध्यम से आवेदन तथा जिला स्तर पर उपभोक्ता फोरम को सशक्त बनाने के लिए उनके पुनर्गठन की आवश्यकता की जानकारी दी। उन्होंने मुख्यमंत्री को उचित मूल्य की दुकानों पर उपलब्ध कराए जा रही नाॅन-पीडीएस सामग्री जैसे- मिर्च, हल्दी, धनिया, जीरा, नमक एवं चीनी आदि के पैकेट भी दिखाए।

बैठक में प्रमुख शासन सचिव वित्त श्री पी.एस. मेहरा और सचिव आयोजना श्री अखिल अरोड़ा सहित वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

जयपुर, 19 मई 2015