कृषि सिंचाई हेतु सोलर पम्पों को बढ़ावा दें

मुख्यमंत्री श्रीमती वसुंधरा राजे ने कृषि विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिये कि वे कृषि सिंचाई में विद्युत चालित पम्पों की बजाय 5 हाॅर्स पाॅवर तक की क्षमता के सोलर पम्पों को बढ़ावा दें जिन पर वर्तमान में 70 प्रतिशत अनुदान दिया जा रहा है।

श्रीमती राजे आज मुख्यमंत्री कार्यालय में कृषि एवं पशुपालन विभागों की वर्ष 2014-15 एवं 2015-16 की बजट घोषणाओं एवं विभागीय कार्यों की प्रगति की समीक्षा कर रही थीं। उन्होंने कहा कि सोलर पम्पों के उपयोग से राज्य में बिजली की खपत में कमी आयेगी तथा किसानों को भी सस्ती ऊर्जा मिल सकेगी। उन्होंने कृषि विभाग के अधिकारियों से कहा कि प्रत्येक किसान को अपने खेत में एक डिग्गी बनाने तथा पाॅली-हाॅउस विकसित करने के लिये प्रेरित करें ताकि किसानों की उपज में वृद्धि हो तथा उन्हें अधिकतम आय मिल सके। मुख्यमंत्री ने कृषि उपज मण्डियों में किसान कलेवा योजना में उपलब्ध कराई जा रही खाद्य सामग्री की भी जानकारी ली।

स्वेच्छा से कृषि प्रसार करने वालों को प्रोत्साहित करें

मुख्यमंत्री ने कहा कि स्वेच्छा से कृषि प्रसार करने वाले लोगों को प्रोत्साहित किया जाये ताकि वे अपने क्षेत्र में घूम-घूमकर किसानों को अपने अनुभव एवं ज्ञान का लाभ दे सकें। ऐसे लोगों को निश्चित प्रोत्साहन राशि भी दी जाये। उन्होंने निर्देश दिये कि ई-धरती कार्यक्रम को मृदा परीक्षण कार्यक्रम से जोड़ा जाये।

आॅलिव उत्पादन को प्रोत्साहन दें

श्रीमती राजे ने निर्देश दिये कि अधिकारी राज्य में आॅलिव हिल्स विकसित करने की संभावना तलाशें ताकि सूखी पहाडि़यों को हरा-भरा बनाया जा सके तथा लोगों को आय भी प्राप्त हो सके। उन्होंने इस बात पर प्रसन्नता व्यक्त की कि राज्य का होर्टिकल्चर विभाग आॅलिव चाय विकसित करने के प्रयास कर रहा है।

पशुपालन विभाग करे एक्सपो का आयोजन

मुख्यमंत्री ने पशुपालन विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिये कि वे राज्य में प्रतिवर्ष बड़े स्तर पर एक्सपो का आयोजन करें ताकि राज्य के उत्पादों को राष्ट्रीय बाजार से जोड़ा जा सके। उन्होंने कहा कि राज्य में चल रहे पशु चिकित्सालयों की मरम्मत, सफाई एवं सुधार के लिये ठोस योजना बनाएं ताकि जिन पशु चिकित्सालयों के सुधार का काम हाथ में लिया जाये, उन्हें समुचित रूप से ठीक किया जा सके। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि धौलपुर जिले में दुग्ध उत्पादकों को आरसीडीएफ की दुग्ध संकलन योजनाओं से जोड़ा जाये ताकि पशुपालकों की आय में वृद्धि हो।

बीकानेर जिला बनेगा आॅलिव एवं डेटपाम हब

बैठक में कृषि मंत्री श्री प्रभुलाल सैनी ने जानकारी दी कि बीकानेर जिले को आॅलिव एवं डेटपाम के हब के रूप में विकसित किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि एल्यूविरा उत्पादों को भी मार्केट उपलब्ध है इलिये राज्य में एल्यूविरा की खेती को भी प्रोत्साहित करने के प्रयास किये जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि राज्य में गौशालाओं के विकास एवं निर्माण को भी महानरेगा से डवटेल किया जा रहा है।

बैठक में जानकारी दी गई कि खेत में काम करते हुए मृत्यु हो जाने पर किसान कल्याण योजना के अंतर्गत किसान के परिवार को देय मुआवजा राशि 1 लाख रुपये से बढ़ाकर 2 लाख रुपये कर दी गई है। कृषि स्नातक एवं स्नातकोत्तर कक्षाओं में अध्ययनरत लड़कियों को इंसेंटिव राशि भी 10 हजार से बढ़ाकर 12 हजार रुपये कर दी गई है। नागौर जिले में कृषि महाविद्यालय खोलने के लिये 90 हैक्टेयर भूमि चिह्नित कर ली गई है। राज्य में 40 हजार मीट्रिक टन डीएपी एवं 80 हजार मीट्रिक टन डीएपी के एडवांस स्टोरेज लिये इफको एवं राजफैड से एमओयू किया गया है। भरतपुर एवं सवाईमाधोपुर पशु चिकित्सालयों में अल्ट्रा साउंड मशीन लगा दी गई है।

आज की बैठक में अतिरिक्त मुख्य सचिव (कृषि) श्री अशोक सम्पतराम, प्रमुख शासन सचिव (वित्त) श्री पी. एस. मेहरा तथा सचिव श्री कुलदीप रांका सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

जयपुर 18 मई 2015

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