कौशल प्रशिक्षण से हुई मेरे आत्मविश्वास में वृद्वि
नाम – हर्षा भुतोडि़या
योग्यता – ग्रेजुएट
कस्बा – लाडनूं
जिला – नागौर
कोर्स का नाम – जूनियर फाइनेन्स एसोसिएट
पद – अध्यापन
वेतन – 11000 रूपये प्रतिमाह
मैं ग्रेजुएट होने के बाद घर पर ही रहती थी। भारतीय समाज में महिलाओं को सिर्फ घरेलु या ग्रहिणी होने की दृष्टि से ही देखा जाता है। परन्तु मेरे पिताजी की तबियत खराब होने की वजह से परिवार को चलाना मेरी भी जिम्मेवारी हो गई थी। परन्तु मुझे खुद पर भरोसा नहीं था तब लाडनूं में राजस्थान कौशल एवं आजीविका विकास निगम के अन्र्तगत शुरू हुए आईसीए के पाठ्यक्रम की जानकारी मिली जिसमें युवाओं की पढ़ाई के साथ साथ आत्मनिर्भर भी बनाया जाता था।
इस कोर्स में प्रवेश लेने के बाद मुझमें आत्मविश्वास आया और कोर्स के पश्चात मैनें प्राइवेट विद्यालय में अध्यापन का कार्य शुरू किया। शुरूआत में मुझे सिर्फ 6 हजार रूपये प्रतिमाह वेतन प्राप्त हुआ परन्तु आज मैं इस विद्यालय में 12 वीं तक के विद्यार्थियों को पढ़ा रही हूं और मेरा वेतन भी 11 हजार रूपये प्रतिमाह है।
अपने परिवार में आज मेरे छोटे भाई का पढ़ाई का खर्च और घर का आर्थिक सहयोग में आसानी से निभा रही हूं। मेरे आगे का लक्ष्य इसी दिशा में एक शिक्षा का सेन्टर खोलने का है जिसमें मैं ज्यादा से ज्यादा महिलाओं को प्रशिक्षित कर सकूं।
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