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धैर्य रखें, समस्याओं का समाधान होगा

जयपुर, 3 जनवरी। मुख्यमंत्री श्रीमती वसुंधरा राजे ने शुक्रवार को यहां अपने राजकीय निवास पर प्रदेश के दूरदराज से बड़ी संख्या में आए लोगों की समस्याएं सुनीं। श्रीमती राजे को महिलाओं, युवाओं, छात्र-छात्राओं, बुजुर्गों सहित समाज के सभी वर्गों के प्रतिनिधियों, विभिन्न संगठनों, आदि ने गुलदस्ते तथा फूल भेंट कर उन्हें नववर्ष की शुभकामनाएं भी दीं। मुख्यमंत्री ने सभी आगन्तुकों को अपनी ओर से नववर्ष की बधाई देते हुए उनकी सुख एवं समृद्धि की मंगलकामना की।

इस अवसर पर लोगों ने अपनी समस्याओं से अवगत कराते हुए श्रीमती राजे को ज्ञापन भी सौंपे। मुख्यमंत्री ने कहा कि वे विश्वास एवं धैर्य रखें, पूरी संवेदनशीलता के साथ उनकी समस्याओं का समाधान होगा।
मुख्यमंत्री ने जनसुनवाई में पहुंचे कर्मचारियों की समस्याओं पर कहा कि राज्य सरकार ने विभिन्न विभागों, सरकारी उप्क्रमों, स्थानीय निकायों एवं सरकारी सहायता प्राप्त संस्थाओं में कार्यरत संविदा आधारित कर्मचारियों, अधिकारियों की सेवा अवधि बढ़ाने, नियमितिकरण तथा सेवा भर्तियों से संबंधित समस्याओं के प्रभावी निराकरण के लिए तीन स्तर समितियों का गठन किया है। श्रीमती राजे ने उनसे अनुरोध किया कि वे अपनी समस्याओं के ज्ञापन संबंधित समितियों के समक्ष रखें, ताकि उनके निराकरण की कार्यवाही पर विचार किया जा सके।

जैसलमेर से आए श्री गिरधारीलाल गर्ग ने बताया कि श्रीमती राजे को एक बार फिर से प्रदेश का मुख्यमंत्री बनने की कामना को लेकर उन्होंने बीते पांच साल से दिन में एक समय का भोजन त्याग रखा था। अब मनोकामना पूरी हुई है। उसके साथ आए जैसलमेर के ही आत्माराम, अम्बाराम मेघवाल, औंकार आदि ने श्रीमती राजे को तनोट माता का प्रसाद भेंट किया तथा चुनरी ओढाई। गिरधारी की भावना तथा समर्पण को देखकर श्रीमती राजे भाव-व्हिवल हो उठी। उन्होंने प्रण पूरा होने की खुशी में गिरधारी से अब दोनों समय का भोजन लेने का आग्रह किया तथा मुंह मीठा कराया।

मुख्यमंत्री को भारतीय प्रशासनिक सेवा के पूर्व अधिकारी श्री आर.के.जैन ने भ्रूण हत्या को रोकने तथा इस विषय पर सामाजिक चेतना जाग्रत करने के उद्देश्य से उगमराज पुष्पलता मोहनोत फाउंडेशन, जोधपुर द्वारा तैयार की गई मार्मिक लघु फिल्म ‘बेटी है तो मां है‘ की डीवीडी भेंट की। श्री जैन ने मुख्यमंत्री को बताया कि लगभग 25 मिनट की इस लघुफिल्म में भू्रणहत्या जैसे संवेदनशील विषय पर अभिभावकों को एक प्रभावी संदेश देने का प्रयास किया गया है।